नांदेड़,एम अनिलकुमार| नांदेड़ जिले में अवैध रेत खनन पर पुलिस की कार्रवाई जारी है। इस अभियान में एक और कार्रवाई नांदेड़ जिले के उमरी सीमा के मनुर इलाके में गोदावरी नदी तट परमेश्वर मंदिर के पीछे गोदावरी तट जल नाले में की गई है। इस कारवाई में कुल 12 लाख 40 हजार रुपये मूल्य की रेत और रेत खनन उपकरण नष्ट कर दिए गए।

नांदेड़ जिले में रेत माफिया अवैध रूप से रेत का खनन और परिवहन कर रहे हैं, जिससे सरकार को लाखों रुपए के राजस्व का चूना लग रहा है। इस संबंध में पुलिस अधीक्षक अविनाश कुमार ने संबंधित थाना क्षेत्रों में हो रहे अवैध बालू खनन व परिवहन के खिलाफ कार्रवाई करने का आदेश दिया था। तदनुसार, ऑपरेशन फ्लश आउट के तहत, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक खंडेराय धरने भोकर, प्रशांत संपत्ते उप-विभागीय पुलिस अधिकारी धर्माबाद, सहायक पुलिस निरीक्षक अंकुश माने के मार्गदर्शन में, 7 फरवरी 2025 को सुबह 09.00 बजे, कुछ लोग उमरी सीमा में मनुर इलाके में गोदावरी परमेश्वर मंदिर के पीछे गोदावरी नदी के तट में रेत खोद रहे है इस स्थान पर तराफे और नावें हैं।

ऐसी गोपनीय सूचना मिलने पर पुलिस ने वरिष्ठों को सूचित किया और मजिस्ट्रेट, राजस्व अधिकारियों और कर्मचारियों की मदद से छापेमारी की। इस समय 8 लाख रुपए कीमत की एक बड़ी लोहे की नाव और उस पर पाइप व इंजन लगे हुए एक छोटी लोहे की नाव, 4 लाख रुपए कीमत की चार तराफे, और ऊसपर आधा ब्रास रेत जिसकी कीमत 1 लाख रुपए, 10 हजार रुपए कीमत की तराफे राफ्ट पर लगभग 2 ब्रास रेत, 30 हजार कीमत की काले रंग की हीरो स्लेंडर कंपनी की दुपाहिया जिसका पासिंग क्रमांक एमएच 26 सीएफ 0304 है, ये सब मिला है। उक्त स्थान पर कुल 12,40,000/- रूपये का माल पाया गया, उक्त माल एवं उसके ट्रेलरों का पुलिस एवं राजस्व अधिकारियों द्वारा निरीक्षण किया गया तथा उसे जिलेटिन का प्रयोग कर रेत के साथ गोदावरी नदी के पानी में मौके पर ही नष्ट कर दिया गया है।

इस स्थान पर उत्तर प्रदेश से एक तराफा चालक गोविंदा तेज नाराण भारती, उम्र 33 वर्ष, निवासी परबतपुर जिला चलिया उत्तर प्रदेश और भगोड़े सचिन पाटिल और सुरेश पाटिल को गोदावरी नदी से अवैध रूप से रेत निकालते और अवैध रूप से परिवहन के इरादे से पर्यावरण को नष्ट करते हुए पकड़ा गया। इसलिए उनके खिलाफ उमरी थाने में भारतीय दंड संहिता की धारा 303(3), 3(5) तथा खान एवं खनिज (विकास एवं विनियमन) अधिनियम, 1957 की धारा 4 एवं 21 तथा पर्यावरण संरक्षण अधिनियम, 1986 की धारा 9, 15 के तहत मामला दर्ज किया गया है। आगे की जांच पुलिस हेड कांस्टेबल गोविंद शिंदे द्वारा की जा रही है।
यह कार्रवाई अविनाश कुमार पुलिस अधीक्षक नांदेड, खंडेराय धरने, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक भोकर, सूरज गुरव अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक नांदेड, प्रशांत संपत्त्ते उप-विभागीय पुलिस अधिकारी धर्माबाद, सहायक पुलिस निरीक्षक अंकुश माने प्रभारी अधिकारी, पुलिस थाना उमरी आदि के मार्गदर्शन में पुलिस उप-निरीक्षक सचिन आरमल, उप-निरीक्षक देवराव वडजे, सुदर्शन धांदू, पोहेको गोविंद शिंदे, रमन फकीरा गेडाम, केलकर, पोहेको. माधय पवार, अरविंद हैबतर, प्रीतम डोमपल्ले, शेख फिरोज, चालक पुलिस कांस्टेबल, गुरुपवाड़ होमगार्ड, हर्षद लाडगे, अविनाश राठोड, उस्कलवाड़, सोनाई आदी ने की गई।