नांदेड़, एम अनिलकुमार| मराठा समुदाय को ओबीसी से आरक्षण दिलाने की मांग को लेकर मनोज जरांगे पाटिल इन्होने 17 सितंबर से छठी बार भूख हड़ताल जारी कि हैं, लेकिन सरकार उनकी मांगों को नजरअंदाज कर रही है, इसलिए मराठा समुदाय के भाइयों की ओर से कलेक्टर को एक बयान जारी कर अगले दो दिनों में मांगें मंजूर करें और भूख हड़ताल वापस लेने में देर नहीं करें वर्ना सोमवार तारीख 23 सितंबर को नांदेड़ जिला बंद आंदोलन करेंगे ऐसा आह्वान किया गया है.

सेजसोयर एक्ट लागू किया जाए, हैदराबाद के साथ सातारा, बॉम्बे सरकार का गेजट लागू किया जाए, अंतरवाली सराटी समेत पूरे महाराष्ट्र में अपराध तुरंत वापस लिए जाएं, राज्य भर में कुनबी रजिस्ट्रेशन जांच धीमी गति से चल रही है, इसमें शीघ्र ही तेजी लाई जाए , ई.डब्ल्यू.एस. के साथ-साथ ई.एस.बी.सी. और कुनबी छात्रों के लिए तीनों विकल्प उपलब्ध कराने की मांग को लेकर मनोज जरांगे पाटिल अब तक पांच बार भूख हड़ताल पर बैठ चुके हैं.

अब वे छठी बार भूख हड़ताल पर हैं. नांदेड में अखंड मराठा समुदाय के सदस्यों की ओर से जिला कलेक्टर अभिजीत राऊत को एक बयान दिया गया कि, सरकार को मनोज जरांगे पाटील कि मांगों पर सहमत होना चाहिए और जरांगे पाटिल की भूख हड़ताल को वापस लेने कि अपील करनी चाहिए , अन्यथा सोमवार 23 सितंबर को नांदेड़ जिला सख्ती से बंद रहेगा ऐसा दिये गये मेमोरेंडम में कहा गया है, इस अवसर पे मराठा समुदाय के सैकड़ों सदस्य उपस्थित थे।

सोमवार 23 तारीख को हिमायतनगर तालुका बंद
मराठा योद्धा मनोज जरांगे पाटिल मराठा समुदाय को आरक्षण दिलाने के लिए अमरन अनशन के लिए अंतरवाली सराटी में बैठे हैं। 5 दिन बीत जाने के बाद भी सरकार ने उनकी भूख हड़ताल पर कोई ध्यान नहीं दिया. उनकी भूख हड़ताल के समर्थन में पूरे मराठा समुदाय ने सोमवार 23 तारीख को पूरे नांदेड़ जिले और हिमायतनगर तालुका को बंद करने की चुनौती दी है. हिमायतनगर तालुका और शहर के सकल मराठा समाज भाइयों ने इस संबंध में एक बयान दिया है. शहर और तालुक के व्यापारियों को बाजार बंद करना चाहिए और नागरिकों को इस बंद में भाग लेना चाहिए और सहयोग करना चाहिए। एसी अपील उन्होने मीडिया के माध्यम से कि है.